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Sunday, April 20, 2014

इसलिए जीवन में लक्ष्य आवश्यक है

कहा जाना है? किधर जाना है?
 कैसे जाना है?   
सफर में कितनी ऊर्जा की आवश्यकता होगी 
कितनी ऊर्जा कब बचाई जा सकती है 
 यह  मालुम हो तो
 राहे सुगम और सफर आसान हो जाता है । 
पता  ही नहीं चलता 
और रास्ता कब कट जाता है
 सफर में थकान नहीं होती 
थकान के स्थान पर 
अद्भुत ऊर्जा का आभास होने लगता है
 तन मन में जोश और उल्लास छा जाता है
 जब पता ही नहीं हो कि 
मंजिल कहा है किधर है
 रास्ते अज्ञात हो तो थोड़ी सी दूरी भी 
बहुत अधिक लगने लगती है
सफर शुरू हो उसके पहले ही 
साँसे फूलने लगती  है
संकल्प निर्बल होने से 
पल पल भारी सा प्रतीत होने लगता है
लक्ष्य सुनिश्चित हो तो 
 संकल्प को बल मिलता है
पल पल प्रतिपल प्रेरणा मिलती रहती है
सफर में कब रुकना है कितना रुकना है
कब चलना है कितनी गति से पहुचना है 
यह पूर्व निर्धारित होने से 
सफर एक यंत्रणा न होकर उत्सव लगने लगता है
 इसलिए जीवन में लक्ष्य आवश्यक है

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